हिजाब केस की सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट की ओर से टिप्पणी की गई है कि स्कूलों को ड्रेस कोड तय करने का अधिकार है।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार कर्नाटक हिजाब विवाद के मामले में सर्वोच्च न्यायालय ने कर्नाटक हाई कोर्ट के फैसले को एक तरह से मान्यता दे दी है। सुप्रीम कोर्ट ने कर्नाटक हाई कोर्ट के फैसले को चुनौती देने वाली याचिका पर फैसला सुनाते हुए स्पष्ट कहा कि स्कूलों के पास ड्रेस कोड तय करने का अधिकार है और इसे छीना नहीं जा सकता। हिजाब कोई ड्रेस कोड नहीं हो सकता है।
मिलिए पाकिस्तानी ‘राहुल गांधी’ से, जिन्होंने कहा- देश में आटा ₹100 लीटर हो गया: देखें वीडियो https://t.co/7ZRZVlyLRR
— News Cup (@NewsCup_IN) September 16, 2022
सु्प्रीम कोर्ट में हिजाब विवाद की सुनवाई जस्टिस हेमंत गुप्ता और सुधांशु धूलिया की बेंचन की ही। हिजाब का समर्थन कर रहे याचिकाकर्ताओं की तरफ से वामपंथी वकील प्रशांत भूषण, दुष्यंत दवे, मीनाक्षी अरोड़ा, ए एमआर दार, जयना कोठारी, कॉलिन गोंजाल्विस ने कोर्ट में अपनी-अपनी दलीलें रखीं। करीब चार घंटे तक चली बहस के दौरान प्रशांत भूषण ने बचकाना दलील देते हुए कोर्ट में दावा किया कि प्राइवेट स्कूलों, गोल्फ क्लब जैसे प्राइवेट क्लब ड्रेस कोड का पालन नहीं करने पर एंट्री को बैन कर सकते हैं, लेकिन सरकारी स्कूलों के पास ऐसा करने का कोई अधिकार नहीं है। ये अपने फैसलों को थोप नहीं सकते हैं।
दिल्ली के छात्रों ने किया केजरीवाल और सिसोदिया को एक्सपोज: देखें वीडियो https://t.co/qXOIyin463
— News Cup (@NewsCup_IN) September 16, 2022
भूषण की इस दलील पर जस्टिस हेमंत गुप्ता ने पूछा कि क्या वो ये कहना चाहते हैं कि सरकारी स्कूल ड्रेस कोड तय नहीं कर सकते हैं? अदालत के इस सवाल पर सकपकाए प्रशांत भूषण ने कहा कि अगर सरकारी स्कूलों के पास ड्रेस कोड तय करने का अधिकार है भी तो भी वे हिजाब को बैन नहीं कर सकते। हालाँकि, जस्टिस धुलिया ने उनकी इस दलील को नकार दिया।
स्वामीनारायण मंदिर में खालिस्तानियों ने की तोड़-फोड़, लिखा ‘खालिस्तान जिंदाबाद, हिंदुस्तान मुर्दाबाद’ देखें वीडियो https://t.co/Jw4nngCKgF
— News Cup (@NewsCup_IN) September 16, 2022
मुस्लिम वकील ने कोर्ट को अल्लाह का डर दिखाया
सुप्रीम कोर्ट में बहस के दौरान याचिकाकर्ताओं के वकील अब्दुल मजीद दार ने कोर्ट को ही अल्लाह का डर दिखा दिया। कुरान के तीसरे सूरे का हवाला देते हुए अब्दुल मजीद ने इस्लाम में पर्दा प्रथा को अनिवार्य करार दिया। उन्होंने दावा किया कि 1400 साल पहले कुरान आई थी। इसमें किसी भी तरह का संशोधन नहीं किया जा सकता। बचकाना बयान देते हुए मजीद ने दावा किया कि अगर हिजाब नहीं पहनेंगे तो अल्लाह माफ नहीं करेगा। इसके साथ ही वकील मजीद ने एक तरह की धमकी देते हुए कहा कि कयामत के दिन अल्लाह सबका हिसाब करेगा।
आपके अपने राष्ट्रवादी न्यूज चैनल को अभी सबस्क्राइब करें और बैल आइकन को भी दबा देवें👇👇https://t.co/ae9NfVesQM
— News Cup (@NewsCup_IN) August 22, 2022
इसे भी जरूर ही पढ़िए:-